सेहत
67 प्रतिशत बच्चे एनीमिया से पीड़ित, एनीमिया के पीड़ित बच्चों की पहचान और सेहत में सुधार के लिए विशेष अभियान चलाया जाए..

अमन पथ :- छत्तीसगढ़ में कमजोर और एनीमिया पीड़ित (खून की कमी ) से जूझ रहे बच्चों के स्वास्थ्य के लिए स्कूल शिक्षा विभाग विशेष अभियान चलाएगा। इसके तहत डायटीशियन की मदद ली जाएगी, ताकि बच्चों व उनके परिवार को सही आहार व स्वास्थ्य की जानकारी दी जा सके। यह कवायद केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय द्वारा लिखे गए पत्र के बाद शुरू की गई है।
बता दें नेशनल हेल्थ फैमिली सर्वे की रिपोर्ट के अनुसार छत्तीसगढ़ में 32 प्रतिशत बच्चे कमजोर और 67 प्रतिशत बच्चे एनीमिया से पीड़ित हैं। बच्चों में एनीमिया के यह आंकड़े वर्ष 2015-16 में 41.6 प्रतिशत से बढ़कर वर्ष-2020-21 में 67 प्रतिशत हाे गई। यानी 25.6 प्रतिशत की वृद्धि हुई। यह स्थिति अब तक सुधर नहीं पाया है। ग्रामीण के साथ शहरी क्षेत्रों में भी एनीमिया व कुपोषण से पीड़ित बच्चे मिल रहे हैं। इसे लेकर केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय ने भी चिंता जाहिर की है। वहीं पत्र लिखकर शिक्षा विभाग को निर्देश दिए हैं कि कमजोर और एनीमिया के पीड़ित बच्चों की पहचान और सेहत में सुधार के लिए विशेष अभियान चलाया जाए। ताकि स्थिति में सुधार लाई जा सके। इसके लिए डायटीशियन मदद लेकर पर्याप्त पोषण, निर्धारित भोजन व्यवस्था को सख्ती से कराए करने के भी निर्देश दिए हैं।
एनीमिया का सबसे बड़ा कारण शरीर में आयरन, विटामिन बी आदि की कमी का होना। जब शरीर में लाल रक्त कोशिकाएं धीरे धीरे खत्म होने लगते है और जरूरत के अनुसार डाइट नहीं मिलती तो इससे खून की कमी होने लगती है। शरीर में एनीमिया की कमी से दूसरी अन्य बीमारी होने का खतरा भी बढ़ जाता है।
सेहत
अचानक शरीर में महसूस हों ये 5 बदलाव, हार्ट अटैक का है खतरा, नजरअंदाज करना होगा जानलेवा

किसी भी बीमारी के शरीर में पनपने से पहले हमारा शरीर संकेत देने लगता है। हालांकि कई बार हम इन इशारों को नजरअंदाज कर देते हैं। हार्ट से जुड़ी समस्या होने पर भी शरीर कई तरह के संकेत देता है। हार्ट अटैक आने से पहले शरीर में कुछ लक्षण नजर आने लगते हैं। जिन्हें इग्नोर करना जानलेवा साबित हो सकता है। पिछले कुछ सालों में हार्ट अटैक के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। हार्ट अटैक के खतरे को दूर करने के लिए सिर्फ डाइट और लाइफस्टाइल में सुधार ही जरूरी नहीं है, आपको हार्ट अटैक के लक्षणों की पहचान करना भी आना चाहिए। आपको हार्ट अटैक के शुरुआती लक्षणों के बारे में पता होना चाहिए। अगर अचानक आपके शरीर में कुछ बदलाव महसूस होने लगे तो इन पर ध्यान जरूर दें। आज हम आपको हार्ट अटैक या हार्ट से जुड़ी बीमारी के शुरूआती लक्षण बता रहे हैं जिन पर आपको ध्यान देना जरूरी है।
हार्ट अटैक आने से पहले शरीर में दिखने वाला लक्षण (Pre Heart Attack Symptoms)
- सांस में बदलाव (Change in breathing)- अगर आपको अचानक से अपने सांस लेने के पैटर्न में कुछ बदलाव महसूस हो तो ये चिंताजनक बात हो सकती है। शरीर में हार्ट से जुड़ी समस्या होने पर सांस की दिक्कत हो सकती है। हार्ट अटैक आने से ठीक पहले सांस लेने में परेशानी होने लगती है। सांस फूलने लगती है और कई बार सांसें तेज हो सकती हैं। अगर ऐसा महसूस हो तो डॉक्टर से सलाह लें.
- बहुत तेज पसीना आना (Increased sweating)- अगर आपको बैठे-बैठे तेज पसीना आ रहा है तो ये शरीर में कई बीमारियों का संकेत हो सकता है। हार्ट अटैक आने से पहले भी तेज पसीना आने जैसे लक्षण दिखाई देते हैं। खासतौर से रात में सोते-सोते पसीना आने लगे तो इसके बारे में डॉक्टर से सलाह लें। इसे इग्नोर करने की गलती न करें।
- बायां हिस्से में कमजोरी (Weakening the left side of body)- अगर आपको अपने शरीर के बाएं हिस्से में कमजोरी महसूस हो। जैसे हाथ में दर्द, कंधे और जबड़े में कमजोरी महसूसहो तो ये खतरनाक हो सकता है। हार्ट जब ठीक से काम नहीं करता तो ऐसी परेशानी हो सकती है। हार्ट की समस्या होने पर कई दिन पहले भी शरीर ऐसे संकेत देने लगता है। इन लक्षण को लेकर डॉक्टर से बात करें।
- जल्दी थकान महसूस होना (Get tired easily)- अगर आप बिना किसी फिजिकल एक्टिविटी के भी बहुत थकान महसूस कर रहे हैं तो ये परेशानी वाली बात हो सकती है। हार्ट के मरीज को शरीर में थकान और कमजोरी महसूस होती है। कई बार जरा सा काम करने पर ही सांस फूलने लगती है।
- पाचन धीमा हो जाना (Digestion slowing down)- हार्ट से जुड़ी परेशानी होने पर पाचन पर भी असर पड़ता है। अगर आप सही डाइट ले रहे हैं और लाइफस्टाइल भी ठीक है, लेकिन पाचन ठीक नहीं है तो ये परेशानी की बात है। हार्ट संबंधी बीमारी होने पर भी ऐसा हो सकती है। इसलिए लंबे समय तक इस समस्या को नज़रअंदाज न करें।
सेहत
10 तरह का होता है नमक, जानिए सेहत के लिए कौन सा नमक है बेस्ट

नमक के बिना खाने का स्वाद अधूरा है। खाने में नमक कम हो जाए या ज्यादा हो जाए तो स्वाद खराब हो जाता है। नमक के बिना किचन में बनने वाले खाने का कोई मोल नहीं है। एक बार को खाने में मसाले कम या ज्यादा हो जाएं, लेकिन नमक ठीक हो तो स्वाद अच्छा लगता है। खाने में नमक की मात्रा और आप कौन सा नमक खाते हैं ये सेहत पर भी असर डालता है। नमक एक या दो नहीं बल्कि 10 तरह का होता है, जिसका उपयोग खाने में किया जाता है। जानिए आपकी सेहत के लिए कौन सा नमक फायदेमंद होता है।
सेहत के लिए कौन सा नमक सबसे अच्छा हाता है (Best Salt For Health)
हेल्थ एक्सपर्ट्स की मानें तो आपको बदल-बदल कर नमक का सेवन करना चाहिए। पिंक हिमालयन सॉल्ट हेल्थ के लिए अच्छा माना जाता है। काला नमक खाने से पेट और पाचन की समस्या नहीं होती है। इसके अलावा टेबल सॉल्ट खाने से शरीर में आयोडीन की कमी को पूरा किया जा सकता है। आप सभी नमक के अलग-अलग कुछ दिनों के लिए खाते रहें। इससे शरीर को सभी जरूरी पोषक तत्व मिलते रहेंगे। आप जो भी नमक खाएं सीमित मात्रा में ही खाएं।
नमक कितने प्रकार का होता है? (All Type Of Salt)
- टेबल साल्ट- ज्यादातर घरों में यही नमक इस्तेमाल किया जाता है। ये सबसे कॉमन साल्ट है, जो जमीन में पाए जाने वाले लवणीय तत्वों मिलकर तैयार किया जाता है। इस नमक को साफ करके इसमें आयोडीन मिलाकर तैयार किया जाता है। इससे घेंघा जैसी बीमारियों को ठीक किया जा सकता है।
- सेंधा नमक- व्रत उपवास में लोग इस नमक का इस्तेमाल करते हैं। इसे शुद्ध माना जाता है। सेंधा नमक को हिमालय नमक और पिंक साल्ट भी कहते हैं। चट्टानों से खोदकर इस नमक को तैयार किया जाता है। ये हल्के पिंक रंग का होता है। सेहत के लिए पिंक सॉल्ट फायदेमंद होता है।
- कोशेर साल्ट- ये तेजी घुलने वाला नमक होता है, जिसका उपयोग नॉनवेज पर छिड़कने के लिए भी किया जाता है। ये टेबल सॉल्ट से मोटा होता है।
- समुद्री नमक- समुद्री के पानी सो सुखाकर इस नमक को तैयार किया जाता है। दूसरे नमक से ये कम साफ और मोटे दाने वाला होता है। समुद्री नमक में जिंक, पोटैशियम और आयरन काफी होता है।
- सेल्टिक सी सॉल्ट- फांस के समुद्री तट पर ज्वार भाटे से जो तालाब भर जाते हैं वहां से इस नमक को तैयार किया जाता है। फ्रेंच में इसे सेल ग्रीस नमक कहते हैं। फिश और मीट को बनाने के लिए इसका उपयोग किया जाता है।
- फ्लिउर दे सेल- सीफूड, चॉकलेट, कैरेमल और नॉनवेज बनाने के लिए इस नमक का उपयोग किया जाता है। फ्रांस के ब्रिटनी में ज्वार वाले पुल से इस नमक को तैयार करते हैं और इसे सूरज की रौशनी में निकाला जाता है।
- काला नमक- हिमालयी क्षेत्रों में काला नमक पाया जाता है। काला नमक पाचन के लिए अच्छा होता है। इसे भट्टी में कई जड़ी-बूटी और छालों के साथ मिलाकर चारकोल के बीच पकाया जाता है। कई आयुर्वेदिक दवाओं में भी काला नमक इस्तेमाल होता है।
- फ्लेक साल्ट- इस नमक में खनिक की मात्रा काफी कम होती है। इसेक वाष्पीकरण करके निकाला जाता है। इसकी पतली लेयर जमा होती है जिससे सफेद रंग का नमक तैयार किया जाता है।
- ब्लैक हवाईयन सॉल्ट- इस नमक को समुद्र से निकालकर बनाया जाता है। ब्लैक लावा सॉल्ट भी इसे कहते हैं। एक्टीवेटेड चारकोल होने की वजह से ये नमक गहरे काले रंग का होता है।
- स्मोक्ड साल्ट- इस नमक को लकड़ी के धुएं से स्मोकी बनाया जाता है। नमक को करीब 15 दिन तक आग के धुंए में रखा जाता है। कई देशों में खाना बनाने के लिए इस नमक का इस्तेमाल किया जाता है।
सेहत
इन स्किन प्रॉब्लम में करें टमाटर का इस्तेमाल…

29 नवंबर 2023:- ज्यादातर भारतीय व्यंजनों में टमाटर का इस्तेमाल किया जाता है। बिना टमाटर के खाने का स्वाद कुछ फीका-फीका सा लगता है। टमाटर को सलाद की तरह भी खाया जाता है। लाल दिखने वाला टमाटर खाने में खट्टा और बेहद स्वादिष्ट होता है। हालांकि बहुत कम लोग जानते हैं कि टमाटर स्किन के लिए भी काफी फायदेमंद होता है।
इन प्रॉब्लम्स को करता है दूर
अगर आप स्किन पर टमाटर लगाते हैं तो आपकी स्किन पहले से ज्यादा ग्लोइंग और हेल्दी हो जाएगी। दरअसल,टमाटर कई तरह के गुणकारी विटामिन्स से भरपूर होता है जो स्किन पर होने वाले एक्ने,रेडनेस,ब्रेकआउट,डार्क स्पॉट्स जैसी कई प्रॉब्लम से छुटकारा दिलाने का काम करता है। चलिए जान लेते हैं कि किन-किन स्किन प्रॉब्लम के दौरान आप टमाटर का इस्तेमाल कर सकते हैं।
ओपन पोर्स
अगर आप स्किन के ओपन पोर्स के बड़े होने की वजह से परेशान हैं तो आप इन्हें कम करने के लिए टमाटर का इस्तेमाल कर सकते हैं। आप टमाटर के रस में खीरे का रस मिलाकर चेहरे पर लगाएं। इससे आपके ओपन पोर्स का साइज काफी कम हो जाएगा, साथ ही इससे डार्क स्पॉट्स भी कम होने लगेंगे।
एजिंग साइन करें कम
अगर आपके चेहरे पर उम्र से पहले बढ़ती उम्र के संकेत दिखने लगे हैं तो आपको इसे दूर करने के लिए टमाटर का इस्तेमाल करना चाहिए। इसके लिए आप टमाटर में एलोवेरा जेल मिलाकर पूरे चेहरे पर लगा लें,फिर इसे 20 मिनट तक रखने के बाद धो लें। इससे आपके एजिंग साइन धीरे-धीरे कम होने लगेंगे।
ब्लैकहेड्स
ब्लैकहेड्स की समस्या से राहत पाने के लिए टमाटर के एक टुकड़े को पूरे चेहरे पर रगड़ें और फिर इसे 20-25 मिनट तक सूखने दें और इसके बाद चेहरे को पानी से अच्छी तरह से धो लें। ये स्किन में जमी हुई गंदगी को अच्छी तरह से रिमूव करेगा और ब्लैकहेड्स को भी कम करेगा।
टैनिंग
टैनिंग की समस्या को दूर करने का बेहतरीन इलाज है टमाटर का रस। टमाटर में विटामिन सी और विटामिन ए होता है, जो त्वचा को आराम देने और टैनिंग हटाने में मदद करता है। टमाटर का पेस्ट लाइकोपीन से भरपूर होता है, जो सनबर्न से बचाता है। इसलिए टैनिंग को हटाने के लिए आप टमाटर के रस या पेस्ट से स्किन की मसाज कर सकते हैं। बेहतर रिजल्ट के लिए इसे हफ्ते में 2-3 बार अप्लाई करें।
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