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खबरे छत्तीसगढ़

*वन विभाग अब स्पेशल गजराज वाहन से हाथियों को खदेड़ेंगे ,शासन ने कराया वाहन उपलब्ध*

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गरियाबंद । प्रदेश में हाथियों के द्वारा गांव में घुसकर मचा रहे उत्पात को रोकने व गांव से हाथियों को खदेडऩे के लिये वन विभाग ने स्पेशल गजराज वाहन लाया है । बता दें कि इस वाहन से हाथियों को गांव से खदेडऩा वन अमले के लिए बहुत आसान हो जाएगा । शासन ने वन विभाग को एक स्पेशल वाहन उपलब्ध कराया है, बताया जा रहा है कि इस वाहन की खासियत है कि इसमें हाईलोजन लाईट्स और हैवी सायरन लगे हुए है जिसकी रोशनी और आवाज सुनने से हाथी दूर भाग जाते हैं। बता दें कि
गरियाबंद में बीते कुछ महीनों से 30 हाथियों के एक झुंड ने उत्पात मचा रखा है, हाथी अब सैंकडों एकड़ फ सल और दर्जनभर से ज्यादा घरों को नुकसान पहुंचा चुके है, यहीं नहीं एक व्यक्ति की जान भी ले चुके हैं. हाथियों का झुंड अभी भी आमामोरा ईलाके में अपना डेरा जमाये हुए है और आए दिन किसी ना किसी गांव में उत्पात मचा रहे हैं अब तक वन विभाग के पास हाथियों को खदेडने के लिए कोई स्पेशल वाहन नहीं था, वन अमले को हमेशा अनहोनी का डर लगा रहता था. स्पेशल वाहन मिलने से वन विभाग को उम्मीद है कि अब बे अपना काम ज्यादा आसानी से कर सकेंगे और ग्रामीणों को हाथियों के उत्पात से बचा सकेंगे।

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नवापारा में सड़क चौड़ीकरण: शुक्रवार को आने की बात कहकर मुकर गए विभाग के अधिकारी और ठेकेदार

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कृष्णा मेश्राम पत्रकार नवापारा-राजिम:  सड़क चौडीकरण के खस्ताहाल और लापरवाही को लेकर विभाग के इंजीनियर और ठेकेदार अभी भी संजीदा नही हो पाए है। अपनी मर्जी से वे काम करने पे उतारू है। शुक्रवार को कार्यपालन अभियंता ने नवापारा पहुंचकर हो रहे सारे कार्यो का निरीक्षण कर खुद ठेकेदार के साथ खड़े रहकर काम शुरू कराने की बात कही थी। परंतु शुक्रवार को न तो कार्यपालन अभियंता नवापारा आए और न ही ठेकेदार। दरअसल अधिकारी वर्ग का निवास राजधानी रायपुर है। वहां से यहां आने में पता नही एलर्जी क्या है यह समझ नही आता। मुख्यालय 45 किमी दूर होने की वजह से यहां के नागरिक न तो उनसे मुलाकात कर पाते है न ही समस्या को बता पाते है। यदि कोई फोन लगा भी ले तो फोन रिसीव्ह ही नही किया जाता। अगर रिसीव्ह कर भी लिए तो वही गोलमोल बात करके घुमाकर रख देते है। पूरे साल भर में नवापारा शहर के मेन रोड के रहवासी न केवल बेचैन है बल्कि बहुत ज्यादा परेशान है। सड़क चौड़ीकरण के पहले इन्होने सड़क के दोनो तरफ जो नालियां बनाई है वह भी न केवल बेढंगा है बल्कि उनकी हाइट इतनी कर दी गई है कि कुर्रा ग्राम से लेकर पंडित जवाहर लाल नेहरू पुल तक दुकानदार,रहवासीे इसलिए चिंतित हो गए है क्योंकि उनके दुकानो और घरो में बारिश का पानी भरेगा। बनाए गए नालियों से घर के दरवाजे,दुकान,पेट्रोल पंप से लेकर सारे व्यवासायिक सेंटर डेड़ से दो फीट नीचे हो गए है। काम आधे-अधुरे कर रहे है। सड़को का हाल-बेहाल हो गया है।

छल्लानी,दम्मानी और रिलायंस पेट्रोल पंप का हाइट नाली से काफी नीचे हो गया है। पता नही बारिश में पेट्रोल पंप की क्या हालत होगी? वार्ड नंबर 01,02 और 04 के सड़क किनारे के तमाम रहवासी और दुकानदार इस बात को लेकर चिंतित है कि बारिशकाल में उनकी क्या स्थिति होगी? इन सब परिस्थितियो को देखते हुए भी विभाग के अधिकारी और ठेकेदार गैरजिम्मेदाराना तरीके से पेश आ रहे है। पूरे तीन किमी के दायरे में जहां से सड़क चौड़ीकरण का काम शुरू हुआ है वहां से लेकर अंत तक हाल-बेहाल है। कमोवेश ढेर सारे ट्रेक्टर और बाइक शो रूम के हालात चिंता जनक है। इसकी चपेट में सड़क किनारे के कुछ बैंक भी आ गए है लिहाजा वे भी बारिशकाल को सामने देखकर बुरी तरह से चिंतित है।

यही हाल आटो पार्ट्स,इंजीनियरिंग वर्क्स का है। हालात को देखते हुए वार्ड नं 01 और 02 बारिशकाल में बुरी तरह से संकट से घिर सकता है ऐसी संभावना नालियो के ऊंचाई को देखते हुए की जा रही है। अफसरो और ठेकेदार के लिए अभी भी कुछ समय है जिसका उपयोग करते हुए अपने मशीनरी और मजदूरो के गैंग बढ़ाकर रात और दिन एक कर बारिशकाल के शुरू होने के पहले बहुत कुछ काम को पूरा कर सकते है बशर्ते उनकी इच्छाशक्ति और जनता का हित उन्हें दिखना चाहिए।

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फोरलेन का काम अत्यंत धीमी गति से,रोड किनारे के रहवासियों और व्यवसायियों में जमकर नाराजगी

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तीन किलोमीटर का यह काम 21 जून 2022 से शुरू हुआ जो 11 महीने में पचास फीसदी भी नही हुआ,बारिश काल सामने,लोग चिंतित


कृष्णा मेश्राम पत्रकार नवापारा-राजिम: कुर्रा से राजिम के पंडित जवाहरलाल नेहरू पुल तक बन रहे फोरलेन सड़क का काम जिस ठेकेदार ने लिया हैं वह अपने मनमर्जी से कर रहा हैं। यह काम बहुत ही धीमी गति से कम संसाधन,कम मजदूर लगाकर घटिया मटेरियल से हो रहा हैं। जबकि जिस दिन 21 जून 2022 को विधायक धनेंद्र साहू ने एक गरिमामय समारोह के बीच शिलान्यास करते हुए लोक निर्माण विभाग के अफसरो व ठेकेदार जो कि इस कार्यक्रम में मौजूद थे अपने उदबोधन के दौरान साफ-साफ कहा था कि ये काम बहुत मुश्किल से स्वीकृत हुआ हैं। इस काम को बहुत ही प्राथमिकता में रखकर जून 2023 तक हर हाल में पूरे गुणवत्ता के साथ पूरा करने निर्देश दिया था। इस निर्देश पर संबंधित ठेकेदार और विभाग के उच्चाधिकारियों ने हां में हां मिलाई थी। कार्यक्रम में मौजूद कांग्रेस कार्यकर्ताओं और स्थानीय नागरिको ने प्रसन्नता जाहिर किया था पर दुख की बात यह हैं कि इस काम को लिए ठेकेदार बहुत ही लापरवाही बरत रहा हैं अफसरो को कोई नियंत्रण नही हैं। नहीं तो क्या मजाल हैं कि बाहर का ठेकेदार यहां काम को लेकर इस तरह से रवैया अपनाता। बता दें कि पिछले साल भर से पूरे शहर के नागरिक और रोड किनारे के दोनो साइड के दुकानदार काफी परेशानी झेल रहे हैं। इनके व्यापार-व्यवसाय का भट्ठा बैठ गया हैं। रोज खाने और रोज कमाने वाले छोटे-छोटे गुमटी और भजिया-बड़ा मूंगफली के ठेले लगाने वालो की रोजी-रोटी समाप्त हो गई हैं। काफी धीमी गति से हो रहे चौड़ीकरण के कारण जगह-जगह गिट्टी,मुरूम और अन्य दिगर सामग्रियों का अंबार सड़क के ऊपर ही लगा हुआ हैं। यात्री गाड़ियों के अलावा दिनभर चलने वाली ट्रको के बीच साइड लेने और देने को लेकर रोज बहस और झगड़ा हो रहे हैं। इनके खोदे गए गढ्ढे में दुपहिया सवार गिरकर रोज चोटिल हो रहे हैं। रोड में पड़े गिट्टियों के कारण गाड़ियो के टायर ट्युब का सत्यानाश हो रहा हैं। स्थानीय जन प्रतिनिधियो और नागरिको तथा इस फोरलेन के आजू-बाजू दुकानदारो,व्यवसायियों,रहवासियों का कोई परवाह नही कर रहा हैं। इनके काम करने का ढंग किसी को कुछ समझ नही आ रहा हैं। तीन किमी के इस काम में वह कहीं गढ्ढा करके छोड़ दिया हैं तो कहीं सड़क में गिट्टी डालकर आगे का काम पकड़ लिया हैं। मतलब तीन किमी के हिस्से को इन्होने बेहाल करके रख दिया हैं। इसे कोई बोलने वाला नही हैं। परंतु संबंधित दुकानदारो,व्यवसायियों और नागरिको का दिमाग अब खराब होते जा रहा हैं। बस स्टेण्ड जैसे संवेदनशील अतिआवश्यक प्वाइंट को छोड़कर इसके दो सौ मीटर आगे और दो सौ मीटर पीछे काम कर रहा हैं। बस स्टेण्ड एरिया में एक तरफ का काम तो शुरू भी नही किया हैं और एक तरफ जहां काम शुरू भी किया वहां थोड़ा बहुत मुरूम डालकर छोड़ दिया हैं। न जाने इस प्वाइंट पर कब काम शुरू करेंगे? गढ्ढा कब खोदेंगे? गिट्टी कब भरेंगे? समतल कब करेंगे? फिर डामरीकरण कब करेंगे? यह किसी को नही पता? जबकि इस काम को जून के पहले करके देना हैं। गर्मी पूरा खतम हो गया। मई का अंतिम चल रहा हैं। जून लगने वाला हैं और काम शुरू नही हुआ हैं। बारिश काल करीब हैं।

29 करोड़ रूपए के भारी भरकम राशि से बनने वाले रोड चौड़ीकरण के काम में न तो क्वालिटी हैं और न ही इसे गंभीरता से की जा रही हैं। हर तरफ इनके द्वारा खोदे गए गढ्ढे जानलेवा भी बनते जा रहा हैं। पिछले दिनो इनके जेसीबी से एक व्यक्ति घायल हुआ,उनके हड्डी भी फेक्चर हुए। पुलिस कार्रवाई में जेसीबी को अंतत: पंद्रह दिनो तक थाने में खड़ा होना पड़ा था। बताते हैं ये ठेकेदार काफी लापरवाह हैं। काम तो ले लेता हैं मगर ध्यान नही देता। पिछले ग्यारह महीने में शहर के लोग इस ठेकेदार का शकल नही देखे हैं। केवल नौसीखिए और नासमझ स्टाफ और वो भी बहुत कम की संख्या में हैं जिन्हें इस काम की जवाबदारी दे दी गई हैं। ठेकेदार के स्टाफ इतने गैरजिम्मेदार हैं कि किस प्वाइंट को जल्दी करना हैं इन्हें वो भी समझ नही हैं। वहीं विभागीय छोटे से लेकर बड़े अधिकारी तक असहाय नजर आ रहे हैं। अधिकारियों का नियंत्रण भी ठेकेदार के ऊपर नही हैं वर्ना क्या मजाल हैं कि कोई ठेकेदार इतने भारी भरकम राशि का ठेके लेने के बाद गायब हो जाए। शहर में लगातार ट्रेफिक का दबाव बढ़ता चला जा रहा हैं। बढ़ते ट्रेफिक के हालात को देखते हुए विधायक धनेंद्र साहू ने शासन स्तर में पहल किया और 29 करोड़ रूपए स्वीकृत कराके इस काम को बहुत जल्द पूरा करने के लिए भूमिपूजन भी किया था। बता दें कि कुर्रा से लेकर राजिम पुल तक गाड़ियों का दबाव और बहुत ज्यादा बढ़ गया हैं। कहना न होगा कि विभागीय उच्चाधिकारी यहां जब तक खड़े रहकर ठेकेदार को काम में टाइट नही करेंगे तब तक शायद ही यह काम आगे बढ़ पाएगा। वर्ना ग्यारह महीने पहले शुरूआत किए गए काम, आधा से ज्यादा पूरा हो जाता। इधर विधायक धनेंद्र साहू ने कछुआ चाल से हो रहे काम को देखकर गहरी नाराजगी जताई हैं। कहा हैं कि विभागीय अफसर साइट में खड़े होकर इस काम को जल्द से जल्द पूरा कराए वर्ना कार्रवाई के लिए हम मजबूर हो जाएंगे। इनके ही स्टाफ द्वारा बताया गया हैं कि ठेकेदार के पास न तो पर्याप्त सामग्री हैं और न ही पर्याप्त मिस्त्री और मजदूर भी बहोत कम हैं। इनके मशीन,इंजन और जो आवश्यक मशीनरी सड़क बनाने के लिए लगता हैं वो भी नजर नही आता। एक तरह से इस शहर के लोगो के साथ ये ठेकेदार मजाक कर रहा हैं और इसी के साथ वो अपनी मनमर्जी चला रहा हैं। जबकि रोड बनने के बाद बीच सड़क से रोड डिवाइडर बनाया जाना हैं उसका भी अता-पता नही हैं। उल्लेखनीय हैं कि शहर की यह बहुत ही बहुप्रतिक्षित मांग थी जिसे विधायक धनेंद्र साहू ने अथक प्रयास कर पूरा किया।

इस संबंध में कार्यपालन अभियंता श्री चंदेल से बात की गई उन्होने कहा कि जिस प्वाइंट का काम अत्यंत आवश्यक हैं उसके लिए वे आज ही निर्देश जारी करेंगे। इंजीनियर को मौके में रहने के लिए बोलेंगे काम को प्राथमिकता में रखकर बारिश काल लगने के पहले इन्हें पूरा करना हैं।

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रियल चॉइस ज्वेलर्स से सोने का हार और लटकन चुराने वाली महिला और उसका पिता गिरफ्तार

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आरोपियों से करीब ₹2,00,000 के सोने के आभूषण जप्त, कोतवाली पुलिस ने नकबजनी के दो मामलों में आरोपियों को भेजा रिमांड

अनिता गर्ग अमन पथ रायगढ़ : कोतवाली पुलिस ने नगर निगम के सामने रियल चॉइस ज्वेलर्स से 6 जून को सोने के दो लटकन की उठाईगिरी कर फरार हुई महिला और उसके पिता को चक्रधरनगर क्षेत्र से गिरफ्तार कर रिमांड पर भेजा गया है । आरोपियों द्वारा करीब ढाई साल पहले भी इसी ज्वेलरी दुकान से करीब डेढ़ लाख रुपए का सोने का हार की उठाईगिरी किए थे । कोतवाली पुलिस ने दोनों ही मामलों में चोरी गये करीब दो लाख रूपये के जेवरातों को आरोपियों से बरामद किया गया है । आरोपियों की शिनाख्तगी में सीसीटीवी फुटेज की अहम भूमिका रही है ।

घटना को लेकर रियल चॉइस ज्वेलरी के संचालक अर्पित बंसल द्वारा थाना कोतवाली में रिपोर्ट दर्ज कर बताया गया कि 6 जून की रात करीब 08.00 बजे उनकी दुकान में सोने का लॉकेट खरीदने आयी महिला, एक बच्चे और एक बुर्जुग व्यक्ति के साथ दुकान आई थी जो दुकान के स्टाफ को सोने के लॉकेट दिखाने कहते हुये, मौका देखकर दुकान से सोने के 02 कान के लटकन कीमती 50,000 रूपये का चोरी कर फरार हो गई है । घटना को लेकर थाना प्रभारी कोतवाली निरीक्षक शनिप रात्रे अपने स्टाफ के साथ ज्वेलरी दुकान पहुंचकर मामले की तस्दीकी किये और घटना समय के सीसीटीवी फुटेज चेक कर तत्काल अपने मुखबिरों को संदिग्धों के संबंध में जानकारी देने सूचित कर पतासाजी में जुट गए । इसी बीच दुकान में आये संदिग्ध महिला और व्यक्ति को पंजरी प्लांट चक्रधरनगर में रहने वाली तनुजा पटेल और उसके पिता पूरनचन्द्र पटेल का होना पुख्ता हुआ । तत्काल कोतवाली पुलिस द्वारा संदेही तनुजा पटेल और उसके पिता पूरनचंद्र पटेल को हिरासत में लेकर थाने लाया गया । ज्वेलरी संचालक अर्पित बंसल ने संदेही तनुजा पटेल और उसके पिता पूरनचंद्र पटेल को पहचानना और करीब ढाई साल पहले 12 नवंबर 2020 को भी दुकान से सोने का हार चोरी करने में तनुजा पटेल और उसके पिता के होने का संदेह जताया । कोतवाली पुलिस द्वारा संदेहियों को दोनों चोरियों के बारे में हिकम्मत अमली से पूछताछ किये जाने पर संदेहियों द्वारा दोनों अपराधों को कबूल किया गया । आरोपियों के मेमोरेंडम पर पूर्व में चोरी सोने का हार कीमती ₹130000 तथा 6 जून को चोरी किए गए सोने का लटकन कीमत ₹50000 *जुमला कीमती ₹180000* का *आरोपी (1) तनुजा पटेल पिता पूरनचंद्र पटेल उम्र 29 साल (2) पूरनचद्र पटेल पिता स्व. श्याम सुंदर पटेल उम्र 60 साल दोनों निवासी रोजगार कार्यालय के पास पंजरी प्लांट थाना चक्रधरनगर* को नकबजनी के दो मामले- अपराध क्रमांक 915/2020 एवं 424/2023 में गिरफ्तार कर आज न्यायिक रिमांड पर भेजा गया है ।

वरिष्ठ पुलि अधीक्षक श्री सदानंद कुमार के दिशा निर्देशन एवं अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक श्री संजय महादेवा व नगर पुलिस अधीक्षक श्री अभिनव उपाध्याय के मार्गदर्शन पर माल मुल्ज्मि पतासाजी में थाना प्रभारी कोतवाली निरीक्षक शनिप रात्रे, प्रधान आरक्षक संजय तिवारी, आरक्षक जगमोहन ओग्रे, उत्तम सारथी की सक्रिय भूमिका रही है ।

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