दिल्ली:- दिल्ली की एक अदालत ने मंगलवार को एक वकील की शिकायत पर पत्रकार राणा अयूब के खिलाफ मामला दर्ज करने का आदेश दिया है. आरोप लगाया गया कि अय्यूब के सोशल मीडिया पोस्ट ने हिंदू देवताओं का अपमान किया और भारत विरोधी भावना फैलाई. अदालत ने कहा कि प्रथम दृष्टया पत्रकार के खिलाफ संज्ञेय अपराध बनता है.
किन धाराओं में केस दर्ज?
मंगलवार को दिल्ली पुलिस ने कोर्ट को बताया कि राणा अयूब के खिलाफ धारा 153ए , 295ए और 505 के तहत एफआईआर दर्ज की गई है. अधिवक्ता अमिता सचदेवा ने अदालत में अयूब के खिलाफ धारा 153 ए, 295 ए और 505 के तहत एफआईआर दर्ज करने का अनुरोध किया था.
सचदेवा का प्रतिनिधित्व अदालत में अधिवक्ता मकरंद अडकर, यादवेंद्र सक्सेना और विक्रम कुमार ने किया. उन्होंने एक्स पर अयूब द्वारा पोस्ट की एक सीरीज पेश की. शिकायतकर्ता ने आरोप लगाया कि उन्होंने भगवान राम को अपमानित किया और रावण को महिमामंडित किया.
राणा अयूब ने एक्स पर एक पोस्ट को रिपोस्ट किया, जिसमें कहा गया पत्रकार @RanaAyyub के ट्वीट 2013, 2014, 2015 और 2016 के हैं. 8-9 साल बीत चुके हैं और कोई विवाद नहीं हुआ. न्यायाधीश को इस मामले को खारिज कर देना चाहिए था. राणा अयूब को उनकी किताब गुजरात फाइल्स के लिए जाना जाता है. ये 2002 के दंगों की जांच पर आधारित उनकी रिपोर्ट पर आधारित है. राणा अयूब भारतीय पत्रकार हैं. वह तहलका अखबार समूह के लिए एक रिपोर्टर के रूप में काम कर चुकी हैं. नवंबर 2013 में राणा अय्यूब ने यौन उत्पीड़न का आरोप लगाने के बाद तहलका से इस्तीफा दे दिया था.