एमसीबी : आज के दौर में महिलाओं का सशक्तिकरण किसी भी समाज की प्रगति का आधार है। जब एक महिला को समानता, स्वतंत्रता और आत्मनिर्णय का अधिकार मिलता है, तो वह न केवल अपने जीवन में बल्कि समाज के हर क्षेत्र में सकारात्मक बदलाव लाती है। यह ’’महिला मुक्ति दिवस’’ हमें किसी लक्ष्य की याद दिलाने के लिए मनाया जाता है। यह एक ऐसा अवसर है जब हम महिला सशक्तिकरण के क्षेत्र में हुई प्रगति को मापते हैं, समाज में व्याप्त लैंगिक असमानता पर विचार करते हैं और उसे दूर करने के लिए नए कदम उठाने का संकल्प लेते हैं। छत्तीसगढ़ जो अपनी सांस्कृतिक विविधता और परंपराओं के लिए प्रसिद्ध है, महिलाओं की भूमिका को मजबूत करने के प्रयासों में अग्रणी राज्य बनकर उभरा है। श्री विष्णुदेव साय की सरकार ने इस दिशा में कई प्रभावशाली कदम उठाए हैं, जिन्होंने राज्य की महिलाओं के जीवन को बेहतर बनाने और उनके अधिकारों को संरक्षित करने में महत्वपूर्ण योगदान दिया है।
छत्तीसगढ़ सरकार की योजनाएं हर किसी को दे रहा योगदान
छत्तीसगढ़ में महिलाओं की सामाजिक और आर्थिक स्थिति को सुधारने के लिए कई योजनाएं और नीतियां लागू की गई हैं। श्री विष्णुदेव साय की सरकार ने महिलाओं की शिक्षा, स्वास्थ्य, सुरक्षा और आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देने के लिए कई अभिनव कदम उठाए हैं। इनमें से कुछ प्रमुख योजनाएं और नीतियां इस प्रकार हैंः ’’शिक्षा और कौशल विकाश’’ जिसमें महिला शिक्षा को बढ़ावा देना सरकार की प्राथमिकताओं में से एक रहा है। बालिका शिक्षा के लिए विशेष छात्रवृत्ति योजनाएं लागू की गई हैं, ताकि गरीब और वंचित तबके की लड़कियां स्कूल में अपनी पढ़ाई जारी रख सकें। ’‘सुकन्या समृद्धि योजना’’ के अंतर्गत गरीब परिवारों की बालिकाओं के लिए वित्तीय सहायता प्रदान की गई है। इसके अतिरिक्त, महिलाओं के लिए विशेष कौशल विकास कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं, जो उन्हें स्वरोजगार और रोजगार के लिए तैयार करते हैं। महिलाओं के स्वास्थ्य पर विशेष ध्यान देते हुए ‘महतारी जतन योजना’ और ‘मुख्यमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान’ जैसे कार्यक्रम शुरू किए गए हैं। इन योजनाओं के तहत गर्भवती महिलाओं को पोषण, चिकित्सा देखभाल और सुरक्षित प्रसव की सुविधा प्रदान की जाती है। ग्रामीण क्षेत्रों में स्वास्थ्य सुविधाओं की पहुंच सुनिश्चित करने के लिए मोबाइल चिकित्सा इकाइयों की शुरुआत भी की गई है। महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए राज्य में ‘’महिला सुरक्षा प्रकोष्ठ’’ का गठन किया गया है। इसके साथ ही घरेलू हिंसा और लैंगिक भेदभाव के खिलाफ जागरूकता अभियान चलाए गए हैं। पुलिस विभाग में भी महिलाओं की भागीदारी बढ़ाने के लिए विशेष आरक्षण दिया गया है, जिससे महिलाएं कानून व्यवस्था बनाए रखने में सक्रिय भूमिका निभा सकें।
आर्थिक सशक्तिकरण की ओर बढ़ रही छत्तीसगढ़ की महिलाएं
महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के उद्देश्य से ‘’महिला स्वावलंबन योजना’’ और ‘’दीनदयाल अंत्योदय योजना’’ जैसी परियोजनाएं शुरू की गई हैं। इन योजनाओं के तहत महिलाओं को स्वरोजगार के लिए प्रशिक्षण और वित्तीय सहायता दी जाती है। स्वयं सहायता समूहों (एसएचजी) को प्रोत्साहित कर महिलाओं को एकजुट किया गया है, जिससे वे सामूहिक रूप से आर्थिक गतिविधियों में हिस्सा ले सकें।
छत्तीसगढ़ सरकार की हो रही प्रशंसा
श्री विष्णुदेव साय की सरकार ने महिलाओं के कल्याण और सशक्तिकरण के प्रति अपनी प्रतिबद्धता दिखाई है, उन्होंने न केवल योजनाएं बनाई हैं, बल्कि उनकी प्रभावी कार्यान्वयन भी सुनिश्चित की है। इन योजनाओं का लाभ विशेष रूप से समाज के वंचित वर्गों की महिलाओं को मिला है। महिलाओं के आर्थिक सशक्तिकरण के क्षेत्र में छत्तीसगढ़ सरकार की उपलब्धियां सराहनीय हैं । स्वयं सहायता समूहों के माध्यम से हजारों महिलाएं आत्मनिर्भर बन रही हैं। इनके माध्यम से न केवल महिलाओं की आमदनी बढ़ी है, बल्कि उनकी सामाजिक स्थिति में भी सुधार हुआ है। महिला सुरक्षा के क्षेत्र में सरकार के प्रयासों की जितनी तारीफ की जाए, कम है। महिला हेल्पलाइन और सुरक्षा प्रकोष्ठ ने महिलाओं को एक सुरक्षित माहौल प्रदान किया है। पुलिस बल में महिलाओं की बढ़ती संख्या राज्य में लैंगिक समानता की दिशा में एक सकारात्मक संकेत है।
महिलाओं के खिलाफ हिंसा, बाल विवाह और लैंगिक असमानता जैसी समस्याएं पूरी तरह से खत्म तो नहीं हुई हैं। पर इन चुनौतियों को दूर करने के लिए सरकार और समाज दोनों को मिलकर काम करने की जरूरत है। यह महिला मुक्ति दिवस हमें यह सोचने का अवसर देता है कि हम महिलाओं के सशक्तिकरण के लिए और क्या कर सकते हैं। यह महिला मुक्ति दिवस न केवल एक पर्व है, बल्कि यह एक अभियान है जो हमें याद दिलाता है कि महिलाओं के बिना समाज अधूरा है। छत्तीसगढ़ में श्री विष्णुदेव साय सरकार ने महिला सशक्तिकरण के क्षेत्र में जो काम किया है, वह पूरे देश के लिए प्रेरणा का स्रोत है। सरकार की योजनाओं और नीतियों ने न केवल महिलाओं की स्थिति में सुधार किया है, बल्कि उन्हें अपने भविष्य के निर्णय लेने की शक्ति भी दी है। आज जब हम महिला मुक्ति दिवस मना रहे हैं, हमें यह संकल्प लेना चाहिए कि हम महिलाओं को सशक्त बनाने के हर संभव प्रयास करेंगे। उनकी स्वतंत्रता, सम्मान और समानता के लिए उठाया गया हर कदम समाज को एक नई दिशा देगा। श्री विष्णुदेव साय की सरकार के प्रयासों के साथ हमें विश्वास है कि छत्तीसगढ़ एक ऐसा राज्य बनेगा, जहां महिलाएं हर क्षेत्र में अग्रणी भूमिका निभाएंगी और समाज को एक नई ऊंचाई पर ले जाएंगी।